Neuroendocrine tumor treatments न्यूरोएंडोक्राइन ट्यूमर के कारण, लक्षण, और उपचार

Neuroendocrine tumor treatments न्यूरोएंडोक्राइन ट्यूमर के कारण, लक्षण, और उपचार

न्यूरो एंडोक्राइन ट्यूमर आज बहुत तेजी से दुनिया में फैलता जा रहा है ! यह न्यूरोएंडोक्राइन कोशिकाओं से फैलने वाला रोग है ! यह शरीर के किसी भी हिस्से में हो सकता है ! इसका फैलाव ज्यादातर तंत्रिका तंत्र से होता है ! और यह हार्मोन्स की स्थिति को बदल देता है ! यानि उन्हें कमजोर करता है जिसकी वजह से पीड़ित को परेशानी होती है ! और विभिन्न प्रकार के (लक्षण) प्रदर्शित होने लगते हैं ! यह लक्षण उचित उपचार Neuroendocrine tumor treatments द्वारा कम किए जा सकते हैं !

न्यूरोएंडोक्राइन ट्यूमर फेफड़े, अपेन्डिक्स, छोटी आंत, रेक्टम और अग्नाशय में अधिकतर होता है ! आज हम इस आर्टिकल में न्यूरोएंडोक्राइन ट्यूमर से जुड़ी सभी जानकारी देने वाले हैं ! यह ट्यूमर कैसे शरीर में पनपता है, इसका निदान क्या है एंव इसके लक्षण क्या है इत्यादि !

न्यूरोएंडोक्राइन ट्यूमर क्या है what is neuroendocrin tumor

न्यूरो एंडोक्राइन ट्यूमर एक दुर्लभ बीमारी है ! यह इंडोक्राइन ग्लैड यानि हमारे शरीर में हार्मोन्स को कंट्रोल करने वाली तंत्रिकाओं से बनने वाली बीमारी है ! जब हमारे शरीर में इंडोक्राइन ग्लैड अनियंत्रित होकर बढने लगती है ! तब यह तंत्रिकाएं एक ट्यूमर यानी फोड़े का रूप ले लेती है. अगर यह ट्यूमर लगातार बढ़ता रहता है तो यह एक कैंसर का रूप ले लेता है और इसी को न्यूरो एंडोक्राइन ट्यूमर कहा गया है !

यह एक लाख लोगों में महज 5 लोगों में पाया जाने वाला ट्यूमर है. इसलिए इसे दुर्लभ ट्यूमर की श्रेणी में रखा गया है. इस ट्यूमर का इलाज संभव है अगर सही समय पर सही ट्रीटमेंट मिल जाए तो अन्यथा यह पीड़ित की जान भी ले सकता है.

न्यूरोएंडोक्राइन ट्यूमर के लक्षण Neuroendocrine tumor symptoms

यदि किसी को ‘न्यूरो एंडोक्राइन ट्यूमर’ है तो उसमें यह लक्षण (Neuroendocrine tumor symptoms) देखने को मिल सकते हैं जैसे-

  •  शरीर में शुगर लेवल कम या अधिक हो जाना
  •   दस्त लगना
  •   शरीर के किसी हिस्से में लगातार दर्द होना
  •   भूख प्यास बढना
  •   बहुत अधिक पेशाब होना /frequent-urination
  •   घबराहट होना
  •   नींद नहीं आना /sleepless-insomnia
  •    बुखार और उल्टी होना
  •    पैरों और टखनो में सुजन आना
  •    पेट में दर्द या ऐंठन होना
  •  अचानक वजन बढना या बहुत ज्यादा कम हो जाना

न्यूरोएंडोक्राइन ट्यूमर होने के कारण causes of neuroendocrine tumor

न्यूरो एंडोक्राइन ट्यूमर होने कारण अनेक हो सकते हैं, विशेषज्ञों के अनुसार यह मुख्य कारण है जो न्यूरो एंडोक्राइन की वजह हो सकते हैं जैसे –

आनुवांशिक – यदि किसी इंसान के परिवार में या माता-पिता में किसी एक को ‘न्यूरो एंडोक्राइन ट्यूमर’ है तो हो सकता है आने वाले समय में उसे भी यह ट्यूमर हो सकता है.

कमजोर इम्युनिटी – डॉक्टरों के अनुसार उन लोगों को भी यह ट्यूमर हो सकता है, जिनकी इम्युनिटी बहुत ज्यादा कम है. ऐसे लोगों को इस ट्यूमर का खतरा हो सकता है. ऐसा नहीं है की यह सभी को हो, यह बहुत दुर्लभ है और बहुत कम लोगों के होता है.

ज्यादा धुप में रहना – यदि आप बहुत ज्यादा धुप में काम करते है या फिर धुप में खड़े रहते है. या ऐसा कोई कार्य कर रहे है जिमसे साल में आधे से ज्यादा दिन आपका काम धुप में होता है तो आपको यह ट्यूमर होने की संभावना बढ़ सकती है.

Endocrine cells लगातर बढना – गलत खान-पान की वजह से एंडोक्राइन सेल्स (ग्लैड) बढने लगती है और यह आगे जाकर एक ट्यूमर का रूप ले लेती है. इसे एंडोक्राइन ट्यूमर कहा जाता है.

न्यूरोएंडोक्राइन ट्यूमर का निदान कैसे किया जाता है how diagnose neuroendocrine tumor

एक न्यूरोएंडोक्राइन ट्यूमर का उपचार neuroendocrine tumor treatments करने के लिए सर्वप्रथम उसका निदान करना आवश्यक होता है ! निदान के लिए डॉक्टरों द्वारा किए जाने वाले परीक्षण और प्रक्रियाएं neuroendocrine tumor symptoms पर निर्भर करेंगी ! कि आपका ट्यूमर आपके शरीर में कहाँ स्थित है ! सामान्य तौर पर, परीक्षणों में निम्नलिखित शामिल हो सकते हैं !

  • शारीरिक परीक्षा – आपका डॉक्टर आपके संकेतों और लक्षणों को बेहतर ढंग से समझने के लिए आपके शरीर की जांच कर सकता है ! या वह लिम्फ नोड्स में सूजन को महसूस कर सकता है ! या उन संकेतों की तलाश कर सकता है ! जो एक ट्यूमर अतिरिक्त हार्मोन का उत्पादन कर रहे हैं !
  • अतिरिक्त हार्मोन देखने के लिए टेस्ट – आपका डॉक्टर अतिरिक्त हार्मोन के संकेत के लिए आपके रक्त या आपके मूत्र का परीक्षण करने की सिफारिश कर सकता है जो कभी-कभी न्यूरोएंडोक्राइन ट्यूमर द्वारा उत्पन्न होते हैं।
  • इमेजिंग परीक्षण – आप अपने ट्यूमर के चित्र बनाने के लिए अल्ट्रासाउंड, सीटी और एमआरआई जैसे इमेजिंग परीक्षणों से गुजर सकते हैं । न्यूरोएंडोक्राइन ट्यूमर के लिए, कभी-कभी रेडियोएक्टिव ट्रैसर के साथ पॉज़िट्रॉन एमिशन टोमोग्राफी (पीईटी) का प्रयोग करके इमेज बनाए जाते हैं ! जिसे नस में इंजेक्शन द्वारा इंजेक्ट किया जाता है।
  • परीक्षण (बायोप्सी) के लिए कोशिकाओं का एक नमूना निकालने की प्रक्रिया – कोशिकाओं के नमूनों को इकट्ठा करने के लिए, डॉक्टर मरीज की  स्थिति के अनुसार फेफड़ों (ब्रोन्कोस्कोपी), अन्नप्रणाली (एंडोस्कोपी) या मलाशय (कोलोनोस्कोपी) में एक लाईट और एक कैमरा के साथ एक लंबी, पतली ट्यूब प्रविष्ट कर सकते हैं। कभी-कभी, ऊतक के नमूने को इकट्ठा करने के लिए मामूली सर्जरी की आवश्यकता होती है।
न्यूरोएंडोक्राइन सेल्स कहां होती हैं

एंडोक्राइन सेल्स हमारे शरीर की पीयूष ग्रंथि, ऐड्रीनल, थायरॉयड, पैराथायरॉयड, टेस्टिस ओवरी, पिनियल, थाइमस में होती है. इस ट्यूमर की सबसे बड़ी वजह यही बनती हैं !

न्यूरोएंडोक्राइन ट्यूमर के प्रकार types of neuroendocrine tumor treatments

एंडोक्राइन ट्यूमर के अनेक प्रकार होते हैं ! और आपकी जानकारी के लिए बताना चाहूँगा की सभी एंडोक्राइन ट्यूमर कैंसर नहीं होते हैं ! इनमे अलग-अलग प्रकार के ट्यूमर होते हैं जिन्हें ग्रेड का रूप दिया गया है !

ग्रेड 1- ग्रेड 1 का ट्यूमर बहुत साधारण होता है ! और इसे आसानी से रोका जा सकता है !

ग्रेड 2- ग्रेड 2 का ट्यूमर काफी रेयर होता है ! अगर इस प्रकार का ट्यूमर हो जाए तो इसका इलाज सर्जरी या कीमोथेरेपी से किया जा सकता है !

ग्रेड 3- ग्रेड 3 का एंडोक्राइन ट्यूमर काफी खतरनाक होता है ! यह शरीर के किसी भी हिस्से में हो सकता है ! एंव उस हिस्से से लगातार अन्य कोशिकाओं में फैलता रहता है !

न्यूरोएंडोक्राइन ट्यूमर का उपचार क्या है what is neuroendocrine tumor treatments

अब हम बात करते हैं की एंडोक्राइन ट्यूमर का उपचार क्या है ? डॉक्टरों के अनुसार बहुत कम लोगों को एंडोक्राइन ट्यूमर होता है और अगर सही समय पर सही इलाज हो जाए तो इस ट्यूमर को ठीक किया जा सकता है. अभी इस ट्यूमर का उपचार करने के लिए तीन तरीके हैं जैसे –

1- सर्जरी surgery

एंडोक्राइन ट्यूमर को निकालने के लिए डॉक्टर सबसे पहले सर्जरी की मदद लेते है और यह तरीका इस ट्यूमर को खत्म करने में काफी कारगर है. सर्जरी की मदद से ट्यूमर को शरीर से पूरी तरह खत्म किया जाता है. सर्जरी के बाद बहुत कम चांस होते हैं की यह ट्यूमर वापस हमारे शरीर में उत्पन्न हो. लेकिन हम यह नहीं कह सकते की सर्जरी से इस ट्यूमर को दुबारा पनपने से रोका जा सकता है !

2- मेडिकल ऑन्कोलॉजी

कीमोथेरेपी, हार्मोन थेरेपी और लक्षित थेरेपी यानि मेडिकल ऑन्कोलॉजी की मदद से ट्यूमर को टारगेट करके उस ट्यूमर में कुछ दवाएं डालकर उसे खत्म करने का प्रयास किया जाता है. अगर ट्यूमर लीवर या अन्य जगहों पर फ़ैल गया है तो यह थेरेपी ट्यूमर से निदान लेने में काफी साहयक है !

3- रेडिएशन थेरेपी

रेडिएशन थेरेपी में ट्यूमर को केन्द्रित करके उसपर रेडियो तरंगो से वार किया जाता है. यह थेरेपी कैंसर रोगियों में अक्सर कि जाती है. यदि कोई एंडोक्राइन ट्यूमर से ग्रसित है तो डॉक्टर उसके फैलाव को देखकर और उसकी जगह पर एक मार्क लगाती है और रेडियशन की मदद से ट्यूमर पर वार किया जाता है. यह थेरेपी काफी महंगी और असरकारक है. यह कैंसर या ट्यूमर की ग्रेड पर निर्भर करता है की पीड़ित को महीने में कितनी बार यह थेरेपी करवानी होगी. एंडोक्राइन ट्यूमर में यह थेरेपी काफी कारगर साबित हुई है.

निष्कर्ष-

यहाँ हमने एंडोक्राइन ट्यूमर (Neuroendocrine tumor treatments)  क्या है, इसका इलाज कैसे किया जाता है, इसके लक्षण क्या है और यह ट्यूमर होने के कारण क्या है उनके बारें में जानकारी दी है. बाकी आप अपने डॉक्टर या एंडोक्राइन ट्यूमर सर्जन से इस ट्यूमर के बारें में अच्छे से जान सकते हैं. आखिर में हम इतना ही कहना चाहेंगे की अगर आपको कोई इस तरह के लक्षण शरीर में देखने को मिलते है तो उन्हें इग्नोर ना करें और जल्द से जल्द डॉक्टर से सलाह लेंवे.  

Thanks..

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